हुड्डा का पलवल के बाढ़ग्रस्त इलाकों का दौरा: सरकार की कारगुजारियों का नतीजा बाढ़ के रूप में भुगत रही है जनता-हुड्डा
गांववालों ने बताया कि कांग्रेस सरकार जाने के बाद से इलाके में स्वास्थ्य सेवाओं और सड़कों का भी बुरा हाल है। बाढ़ के बाद इलाके में बीमारियां फैली हैं, जिसकी रोकथाम के लिए सरकार कोई कदम नहीं उठा रही। सड़कों की हालत अब और ज्यादा खस्ता हो गई हैं।
- किसानों को 40,000 प्रति एकड़ के हिसाब से मुआवजा दे सरकार- हुड्डा
- मुआवजे के लिए किसानों को पोर्टल की झंझट में न उलझाए, जल्द मुआवजा वितरण कराए सरकार – हुड्डा
- मकानों, दुकानों व कारोबारियों को हुए नुकसान की भरपाई भी करे सरकार- हुड्डा
- विधानसभा में उठाएंगे बाढ़ग्रस्त इलाकों के लोगों की मांगें- हुड्डा
- बेरोजगारी पर केंद्र सरकार के आंकड़ों ने खोली बीजेपी-जेजेपी की पोल- हुड्डा
- हरियाणा में कांग्रेस कार्यकाल के मुकाबले 3 गुना और राष्ट्रीय औसत से दोगुने से ज्यादा बेरोजगारी- हुड्डा
पलवल: पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने बाढ़ग्रस्त इलाकों की मांगों को विधानसभा में उठाने का ऐलान किया है। हुड्डा लगातार बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा कर रहे हैं। इसी कड़ी में आज उन्होंने पलवल और फरीदाबाद के कई गांवों का दौरा किया और लोगों की समस्याएं सुनीं। बागपुर और मंझावली समेत कई गांव के लोगों ने हुड्डा को ज्ञापन सौंपकर अपनी मांगों के बारे में बताया। लोगों ने बताया कि कई दिनों से जलभराव की वजह से उन्हें भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। इलाके की 95 प्रतिशत तक फसल बर्बाद हो चुकी है। खेतों में 3 से लेकर 8 फीट तक पानी खड़ा हुआ है। गिरदावरी करवाने में सरकार जानबूझकर देरी कर रही है, ताकि पानी उतरने के बाद किसानों का नुकसान कम करके दिखाया जा सके। इसके अलावा, सरकार मुआवजे के लिए किसानों को पोर्टल की झंझट में न उलझाए, बल्कि युद्ध स्तर पर जल्द से जल्द मुआवजा वितरण करने की व्यवस्था कराए ताकि उन्हें कुछ राहत मिल सके।
गांववालों ने बताया कि कांग्रेस सरकार जाने के बाद से इलाके में स्वास्थ्य सेवाओं और सड़कों का भी बुरा हाल है। बाढ़ के बाद इलाके में बीमारियां फैली हैं, जिसकी रोकथाम के लिए सरकार कोई कदम नहीं उठा रही। सड़कों की हालत अब और ज्यादा खस्ता हो गई हैं। लेकिन सरकार की तरफ से कोई सुध लेने के लिए नहीं पहुंचा। बाढ़ की वजह से खेती से लेकर दुकानों और मकानों तक में भारी नुकसान हुआ है। लोगों के घर-गृहस्थी का काफी सामान बर्बाद हो गया है। जलनिकासी के लिए सरकार द्वारा कोई प्रयास नहीं किए जा रहे।
आज फरीदाबाद और पलवल के विभिन्न गांवों में बाढ़ग्रस्त इलाकों का दौरा कर लोगों से मुलाकात की। pic.twitter.com/iI1Vck5OYV
— Bhupinder S Hooda (@BhupinderShooda) July 21, 2023
हुड्डा के साथ इस मौके पर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष चौधरी उदयभान, पूर्व विधायक करण सिंह दलाल, विधायक नीरज शर्मा, रघुबीर तेवतिया, ललित नागर, विजय प्रताप, शारदा राठौर, मोहम्मद इसराइल, लखन सिंगला समेत कई वरिष्ठ नेता मौजूद रहे। दौरे के बाद दोनो जिलों में प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए हुड्डा ने कहा कि इस बार मौसम विभाग की तरफ से पहले ही ज्यादा बारिश का अलर्ट दिया गया था। बावजूद इसके बीजेपी-जेजेपी सरकार ने समय रहते कोई कदम नहीं उठाए। ना नदियों के तटबंधों को मजबूत किया गया ना, ड्रेन की सफाई की गई और ना ही जल निकासी के साधन जुटाए गए। वहीं पिछले कई साल से अवैध खनन करके नदी और नेहरों के बहाव की दिशा बदल दी गई। सरकार की इन्हीं कारगुजारियों के चलते पूरे प्रदेश को बाढ़ का सामना करना पड़ा।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि अब सरकार लोगों के सब्र का और इम्तिहान ना ले। उसे जल्द से जल्द किसानों को 40 हजार रुपये प्रति एकड़ के हिसाब से मुआवजा वितरित करे। इसके साथ ही पशुधन को हुए नुकसान की भरपाई भी सरकार को करनी चाहिए। जलभराव के कारण किसान पशुओं के चारे की किल्लत का सामना कर रहे हैं। सरकार को तुरंत चारे का बंदोबस्त करना चाहिए। किसानों के साथ दुकानदारों, कारोबारियों और मकानों को हुए नुकसान के लिए भी सरकार को उचित मुआवजा देना चाहिए। हुड्डा ने मृतकों के परिवारों के लिए 4-4 लाख रुपए की सहायता राशि के ऐलान को नाकाफी बताया उन्होंने इसे बढ़ाकर 20 लाख रुपए करने की मांग की।
पत्रकारों द्वारा सीईटी को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में हुड्डा ने CET क्वालीफाई करने वाले सभी अभ्यर्थियों को मौक़ा देने की मांग दोहराई। उन्होंने कहा कि सरकार लगातार प्रदेश के बेरोजगार युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ कर रही है। संसद में दीपेन्द्र हुड्डा के सवाल के जवाब में केंद्र की बीजेपी सरकार ने लिखित जवाब देकर बताया कि हरियाणा में कांग्रेस सरकार के समय 2013-14 में बेरोजगारी दर सिर्फ 2.9% थी जो बीजेपी-जेजेपी सरकार बनने के बाद 3 गुना से भी ज्यादा बढ़कर 2021-22 में 9.0% पर पहुंच गई है जो पूरे उत्तर भारत में सर्वाधिक है। वहीँ, राष्ट्रीय स्तर पर बेरोज़गारी दर 4.1% है। इस हिसाब से देखें तो हरियाणा में ये दर दोगुने से भी ज्यादा है।
सीएमआईई के मुताबिक यह आंकड़ा इससे भी ज्यादा है। जबकि, कांग्रेस कार्यकाल के दौरान 2014 से पहले हरियाणा प्रति व्यक्ति आय, प्रति व्यक्ति निवेश, रोजगार उपलब्धता और कानून व्यवस्था जैसे मामलों में देश का नंबर वन राज्य था। लेकिन बीजेपी-जेजेपी ने हरियाणा को बेरोजगारी, महंगाई, अपराध और नशे में नंबर वन बना दिया है।
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